Leptospirosis एक बीमारी है जो बाढ़ के बाद केरल में फ़ैल रही है , इसको 'Rat Fever' भी कहा जाता है। यह एक ज़ूनोटिक संक्रमण है जो बैक्टीरिया लेप्टोस्पीरा के कारण होता है। यह जीवाणु संक्रमण ज्यादातर कुत्तों, कृंतक, और खेत के जानवरों के माध्यम से फैलता है, जो संक्रमण के कारण बैक्टीरिया के वाहक के रूप में कार्य करते हैं। संक्रमण मुख्य रूप से उनके मल-मूत्र के माध्यम से फैलता है।
यद्यपि इस बीमारी से जीवन को कोई नहीं है, फिर भी कुछ मामलों में इस बीमारी के बार बार लगने का तरीका हैं जिससे आपको हॉस्पिटल ने भर्ती भी होना पड़ सकता है | इस स्थिति को वेइल रोग के रूप में जाना जाता है। इसके लक्षणों हैं - सीने में दर्द और हाथ पैरों में सूजन |
Leptospirosis के लक्षण:
• सरदर्द
• मांसपेशियों में दर्द
• पीलिया
• उल्टी
• दस्त
• त्वचा के लाल चकत्ते
इलाज और रोकथाम:
• Leptospirosis एंटीबायोटिक दवाओं जैसे Pencillin और doxycycline द्वारा ठीक किया जा सकता है। गंभीर मामलों में हालांकि, आपको अस्पताल में भर्ती होने की आवश्यकता हो सकती है, जहां से आप एंटीबायोटिक इंजेक्शन प्राप्त करते हैं।
• Leptospirosis को रोकने के लिए, आप निम्न चरणों का पालन कर सकते हैं:
- संक्रमित जानवरों से दूर रहें |
- प्रदूषित पानी और बहुत समय गंदे पानी में रहने से बचें (बाढ़ के बाद इस बीमारी से केरल के पीड़ित होने का यह कारण हो सकता है)।
- यात्रा करते समय स्वच्छता का विशेष ध्यान रखें |
- ब्लीच, लाइसोल, और आयोडीन जैसे कीटाणुशोधक का प्रयोग करें।
Translated by Team Letsdiskuss