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Karan Rathor

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मुंबई के लाल बाग के राजा इतने प्रसिद्ध क्यों है?


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चलिए दोस्तों आज हम आपको बताते हैं कि मुंबई के लालबाग के राजा इतने प्रसिद्ध क्यों है।

 मुंबई के लाल बाग के राजा गणेश मंडल को कहा जाता है। मुंबई के लाल बाग के राजा इतने प्रसिद्ध इसलिए हैं,क्योंकि ऐसा माना जाता है कि यहां पर अगर कोई भी व्यक्ति अपनी मन्नतें मांगता है तो वह मन्नत पूरी हो जाती है। और मुंबई के लाल बाग के राजा गणेश मण्डल को सबसे प्रसिद्ध माना जाता है क्योंकि यही लालबाग के राजा दर्शन देते हैं।लाल बाग के राजा गणेश जी की मूर्ति सबसे ऊंची गणपति मूर्तियों में से एक होती है।और यह इसलिए भी प्रसिद्ध है क्योंकि देश भर के लोग गणेश चतुर्थी को लेकर जोरदार तैयारी करते हैं लेकिन महाराष्ट्र के लोगो मे गणेश चतुर्थी के दिन अलग ही धूम दिखाई देती है।यहां पर भक्त जयकारे और ढोल नगाड़ों के साथ लाल बाग के राजा का स्वागत करते हैं।

लालबाग के राजा केवल एक गणेश मूर्ति नहीं, बल्कि भक्तों के लिए आस्था और आशा का प्रतीक है। भक्त मानते हैं कि भगवान गणेश उनकी मनोकामनाएं पूरी करेंगे और उन्हें जीवन में सफलता प्रदान करेंगे। लालबाग के राजा के दर्शन करने के बाद भक्तों को अत्यधिक आनंद और शांति का अनुभव होता है। यहां पर गणेश उत्सव का पर्व 10 दिन तक चलता है और गणेश जी का 11वें दिन विसर्जन किया जाता है।

चलिए हम लाल बाग के राजा की मूर्ति के बारे में कुछ जानकारी देते हैं- लाल बाग के राजा की मूर्ति के सिंहासन की ऊंचाई 14 फिट है तो मूर्ति की ऊंचाई करीब 16 फिट है। यहां पर लगभग एक करोड़ लोग दर्शन के लिए आते हैं और दिल खोलकर चढ़ावा देते हैं।

चलिए हम लालबाग के राजा गणेश मंडल की स्थापना के इतिहास के बारे में जानकारी देते हैं-

इस मंडल की स्थापना साल 1934 में लाल बार परेल में हुई थी।मंडल का गठन उसे युग में शुरू हुआ था जब आजादी का संघर्ष पूरे चरण पर था। इस मंडल की शुरुआत लोकमान्य तिलक ने ब्रिटिश शासन के खिलाफ लोगों के जागृति के लिए सार्वजनिक गणेश उत्सव मनाने का फैसला किया।

 

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मुंबई के लालबाग के राजा इतने प्रसिद्ध क्यों है :-

मैं आपको बता दूं कि लालबाग के राजा का महत्व अपनी भव्यता के कारण चर्चा में रहते हैं ऐसा माना जाता है कि लालबाग के राजा से जो भी मन्नत मांगी जाती है वह पूरी जरूर होती है। इसी वजह से इन्हें व्रत का राजा भी कहा जाता है।

 लालबागचा राजा में दर्शन के लिए दो लाइन लगी होती हैं एक मुख्य दर्जन और दूसरी चरण स्पर्श दर्शन, और हमेशा यहां दर्शन के लिए भक्तों की भीड़ लगी रहती है। भगवान जी के दर्शन 24 घंटे चलते रहते हैं। और आपके मुख दर्शन कुछ ही घंटे में मिल जाएंगे। लेकिन हां चरण स्पर्श दर्शन के लिए काफी लंबा इंतजार करना पड़ता है।

 लालबागचा राजा सर्वजनिक गणेश उत्सव मंडल की स्थापना सन 1934 में की गई थी। और यह मुंबई के लालबाग परेल इलाके में स्थित है।

 बताया जाता है कि यह गणेश मंडल अपने 10 दिवसीय समारोह के दौरान लाखों लोगों को खासा आकर्षित करता है। इस प्रसिद्ध गणपति को नवसाचा गणपति के रूप से भी जाना जाता है। बताया जाता है कि हर वर्ष केवल दर्शन पाने के लिए  यहां पर 5 किलोमीटर की लंबी लाइन लगती है। और लालबाग के गणेश की मूर्ति का विसर्जन गिरगांव चौपाटी में दसवे दिन किया जाता है।

 मंडल का गठन उसे युग में हुआ था जब स्वतंत्रता संघर्ष अपने पूरे चरम सीमा पर था। मैं आपको बता दूं कि लोकमान्य तिलक ने ब्रिटिश शासन के खिलाफ लोगों की जागृति के लिए सार्वजनिक गणेश उत्सव का विचार विमर्श का माध्यम बनाया था।

 और जब आप इस वर्ष 2024 में लालबाग के राजा को देखने जाएंगे तो आपको राजमहल सुनहरी रंग में देखने को मिल जाएगा क्योंकि मूर्ति कलाकार संतोष कांबली द्वारा बनाई गई है। इतना ही नहीं भक्तों की देखभाल करने के लिए करीब 3000 मंडल कार्यकर्ता उपलब्ध किए गए हैं।

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मुंबई के लालबाग के राजा के प्रसिद्ध  होने का कारण क्या है चलिए हम आपको बताते हैं:-

जैसा कि आप जानते हैं कि लाल बाग का राजा मुंबई का सबसे अधिक लोकप्रिय गणेश मंडल में से एक है। बताया जाता है कि लालबाग के राजा को आजादी मिलने से पहले पेरू चाल बाजार के नाम से भी जाना जाता था। लेकिन किसी कारणवश  यह बंद हो गया। ऐसी मान्यता है कि लालबाग के राजा से जो मन्नत मांगी जाती है वह एक न एक दिन पूरी अवश्य होती है। इसी वजह से इन्हें मन्नत का राजा भी कहा जाता है। सन 1934 में लालबाग के राजा की स्थापना हुई।

 

राजा से हुई प्रजा की पहचान:-

बताया जाता है कि लालबाग इलाके में रहने वाले लोग गणेश उत्सव के दौरान पूरे 10 दिन तक एक अलग ही अनुभव को जीते हैं। यहां के स्थानीय लोग बताते हैं कि रोजाना लाखों लोगों का आना-जाना बना रहता है, और अब लालबाग के स्थानीय लोग कहीं भी घूमने के लिए जाते हैं तो उनकी पहचान लाल बाघ के राजा से होने लगी है।

 लाल लालबाग के राजा यानी कि गणेश जी की मूर्ति दुनिया की सबसे ऊंची मूर्तियां में से एक होती है। बताया जाता है कि साल 2023 में लालबाग के राजा की पहली झलक दिखाई गई थी। और बप्पा को गुलाबी रंग के वस्त्र पहनाए गए हैं। और यह लालबाग राजा पंडाल का 90वा साल है। लालबाग के राजा में आम जनता के अलावा यहां पर बड़ी-बड़ी हस्तियों जैसे कि बॉलीवुड सेलिब्रिटी लोगों का आना-जाना लगा रहता है। बताया जाता है कि लालबाग राजा में उसे दौरान धार्मिक कार्य के अलावा स्वतंत्रता संग्राम और  सामाजिक मुद्दों पर भी चर्चा होती रहती है। इस प्रकार यदि आप चाहते हैं कि आप भी यहां पर भगवान जी के दर्शन करने जाएंगे तो इससे पहले आपको पहचान पत्र बनवाना पड़ेगा।

 

 

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